संकट मोचन के नाम से प्रसिद्ध भगवान हनुमान जी सबसे लोकप्रिय अवतार रहे है. भगवान शिव के वरदान की वजह से उन्हें भगवान के रूप में पूजा जाता है. भगवान हनुमान को कई और नामों से भी जाना जाता है जिनके बारे में हम आपको इस आर्टिकल में बताएँगे.
संकट मोचन हनुमान जी का जन्म
ज्योतिष्यों के अनुसार उनका जन्म 1 करोड़ 85 लाख 58 हजार 115 वर्ष पहले त्रेतायुग जे अंतिम चरण में चेत्र पूर्णिमा को मंगवार के दिन सुबह 6:30 बजे को आंजन नामक एक छोटे से पहाड़ी गावँ में माना जाता है. उनके पिता का नाम केसरी और माता का नाम अंजना था.
संकट मोचन हनुमान की शिक्षा
हनुमान जी बल, बुद्धि, युक्ति, ज्ञान में सबसे अव्वल थे. उनकी संकार शिक्षा उनकी माता अंजना द्वारा हुई और उसके बाद में जब वो बड़े हुए तो पवनदेव के आग्रह पर उन्हें सूर्यदेव के पास शिक्षा के लिए भेजा गया जहाँ पर उन्होंने मात्र 7 दिनों में सम्पूर्ण ज्ञान प्राप्त कर लिया और राम नाम में लीन हो गये.
संकट मोचन हुनमान जी का योगदान
हनुमान जी ने कई राक्षषों का वध कर उनके आतंक से कई ग्राम वासियों को भय मुक्त किया. भगवान सूर्यदेव का अहंकार तोड़ने के लिए उन्होंने फल समझकर उनको अपने अपने पेट में धारण कर लिया और भगवान शिव के आग्रह करने पर सूर्यदेव को मुक्त किया. उनको सभी देवी देवताओं से अनेक वरदान प्राप्त थे जिससे वो जग कल्याण में भगवान राम की सहायता करने में सक्षम हो गए थे. उन्होंने महाज्ञानी रावण के साथ युद्ध में भगवान राम की सहायता कर उनका विजय पथ सुगम कर दिया.
संकट मोचन हनुमान के नाम
जन्म के बाद उनका नाम वायुदेव के द्वारा मारुति रखा गया और वज्र की वजह से उनकी ठुड्डी टूटने की वजह से उन्हें हनुमान कहा जाने लगा.
- बजरंग बली
- मारुति
- अंजनि सूत
- केसरी नंदन
- संकटमोचन
- पवनपुत्र
- महावीर
- कपीश
- शंकर सुवन
भगवान हनुमान के रूप
संकट मोचन हनुमान पंचमुख थे.
- वराह मुख
- नरसिंह मुख
- गरुड़ मुख
- हयग्रीव मुख
- हनुमान मुख
भगवान हनुमान के भाईयों के नाम
- मतिमान
- श्रुतिमान
- केतुमान
- गतिमान
- धृतिमान